Raid In Prayagraj: शहर के प्रतिष्ठित अस्पताल फीनिक्स और श्रीजन हॉस्पिटल पर इनकम टैक्स का छापा, मचा हड़कंप
प्रयागराज रिपोर्टर शिवाकांत तिवारी
आयकर विभाग की टीमों बृहस्पतिवार को शहर के प्रतिष्ठित अस्पताल फोनिक्स और सृजन हॉस्पिटल में छापा मार दिया। करोड़ों रुपये कर चोरी के आरोप में टीमें इनके डायरेक्टरों के घर पर भी पहुंचीं। टीम ने विभव मालवीय, डॉ. जयवर्धन राय जेबी राय समेत अन्य डॉक्टरों के घर पर सुबह आयकर विभाग के अफसरों ने छापा मार दिया। सभी डायरेक्टरों को फिनिक्स हॉस्पिटल में बुलाया गया।
शहर के प्रतिष्ठित अस्पताल फिनिक्स और सृजन हॉस्पिटल में आयकर ने छापा मार दिया। इससे मरीजों और तीमारदारों समेत अस्पताल के चिकित्सकों में अफरातफरी मची रही। मौके पर बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया था। टीम ने विभव मालवीय, जेपी राय समेत अन्य डॉक्टरों के घर पर सुबह आयकर विभाग के अफसरों ने छापा मार दिया। सभी डायरेक्टरों को फिनिक्स हॉस्पिटल में बुलाया गया।
उधर, आयकर विभाग की अन्य टीमों ने उनके घरों पर छापा मार कर सर्च अभियान चलाया। इसके अलावा सिविल लाइंस के एल्गिन रोड स्थित सृजन अस्पताल में भी टीमें पहुंची। बालसन चौराहे के निकट कर्नलगंज इंटर कॉलेज के पीछे फोनिक्स अस्पताल में भी घंटों छानबीन की गई। करवाई शाम तक जारी रही। करोड़ों रुपये की आयकर चोरी मामला सामने आ रहा है।
आज नहीं आया कोई डाक्टर
प्रयागराज के सृजन अस्पताल में ईडी की छापेमारी के चलते बृहस्पतिवार को कोई डॉक्टर नहीं आया और कोई ओपीडी भी संचालित नहीं हुई। यहां आने वाले मरीजों को आज भर्ती भी नहीं किया जा रहा है। हॉस्पिटल के गेट पर ही पुलिस फोर्स लगा दी गई है। हालांकि इस पर कोई भी संबंधित अधिकारी कुछ नहीं बोल रहा है।
नर्सिंग कालेज और स्कूल भी हो रहा संचालित
डॉ. बीबी अग्रवाल के द्वारा अस्पताल के अलावा नर्सिंग कालेज व स्कूल भी संचालित किए जा रहे हैं। माना जा रहा कि ED की कार्रवाई अभी और भी लंबी चल सकती है।
सुबह ही पहुंच गई थी टीमें
इनकम टैक्स विभाग की दोनों टीमें गुरुवार सुबह सात बजे ही दोना ंअस्पतालों में एक साथ पहुंच गई थीं। इसके बाद टीमों ने सभी दस्तावेजों को कब्जे में लेकर कर्मचारियों से लंबी पूछताछ की। छापे के दौरान अस्पताल के गेट पर पुलिस बल की तैनाती की गई थी। जिसकी वजह से कई मरीज डॉक्टरों को बिना दिखाए घर चले गए। दोनों अस्पतालेंा के मेन गेट पर पुलिस बल की मौजूदगी को देखकर नए मरीज व उनके तीमारदारों में कानाफूसी चलती रही। पहले तो किसी को कुछ समझ नही आया लेकिन सोशल मीडिया पर खबर वायरल होने के बाद मामले को समझ गए और वहां से चले गए। खबर लिखे जाने तक विभागीय टीमें अस्पताल में डटी थीं। अस्पतालों के भीतर किसी भी आउट साइडर को प्रवेश की इजाजत नही थी।